नौकरशाही की साख पर बट्टा आईएएस टॉपर रहे प्रदीप शुक्ला जेल में अभिषेक प्रकाश भ्रष्टाचार के आरोप में सस्पेंड, ब्यूरोक्रेसी में मचा हड़कंप
प्रखर लखनऊ। योगी सरकार ने जीरो टॉलरेंस नीति पर काम करते हुए प्रदेश की नौकरशाही पर लगाम लगाने की कवायद शुरू दिया है। योगी सरकार ने बड़ी कार्रवाई किया जिसका परिणाम है कि सिविल सर्विसेज के टॉपर प्रदीप शुक्ला इस वक्त जेल में हैं, जबकि नीरा यादव, अखंड प्रताप सिंह और यादव सिंह जैसे अधिकारियों पर भी कार्रवाई हो चुकी है। बतादें कि राजधानी लखनऊ में लंबे समय तक जिलाधिकारी (DM) रहे IAS अभिषेक प्रकाश को भ्रष्टाचार के आरोप में सस्पेंड कर दिया गया है। वर्तमान में वह इन्वेस्ट यूपी के सीईओ के पद पर कार्यरत थे। उन पर सोलर एनर्जी से जुड़े कल-पुर्जे बनाने वाली एक कंपनी को यूनिट स्थापित करने की अनुमति देने के बदले रिश्वत मांगने का आरोप है। IAS अभिषेक प्रकाश के निलंबन के बाद यूपी की नौकरशाही में हलचल मच गई है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस नीति के तहत अब तक 11 अफसरों को निलंबित किया जा चुका है। इस मामले के बाद अन्य अधिकारियों के भ्रष्टाचार में लिप्त होने की चर्चाएं भी तेज हो गई हैं। इससे पहले कई बड़े अफसरों पर भी गाज गिर चुकी है। जिनमें सिविल सर्विसेज के टॉपर प्रदीप शुक्ला इस वक्त जेल में हैं, जबकि नीरा यादव, अखंड प्रताप सिंह और यादव सिंह जैसे अधिकारियों पर भी कार्रवाई हो चुकी है। गौरतलब है कि गोंडा में एक कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्टाचार पर सख्त संदेश देते हुए कहा था, “भ्रष्टाचार के घुन को समाप्त करने की आवश्यकता है। अगर कोई अनावश्यक रूप से पैसे की मांग करता है, तो उसकी शिकायत करें। जांच के बाद जवाबदेही तय की जाएगी और वह व्यक्ति अपनी अंतिम सरकारी नौकरी कर रहा होगा। उसके परिवार का कोई भी व्यक्ति भविष्य में सरकारी सेवा में नहीं आ पाएगा। अधिकारियों के भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई को लेकर आम जनता में चर्चा है कि यह है कि इसका सबसे ज्यादा नुकसान आम लोगों को ही होता है। रिश्वतखोरी और पक्षपात के चलते सरकारी योजनाओं और सेवाओं का सही लाभ जरूरतमंदों तक नहीं पहुंच पाता। योगी सरकार के कड़े कदम के बाद IAS अभिषेक प्रकाश का निलंबन उत्तर प्रदेश के नौकरशाही के लिए बड़ा तमाचा है। निलंबन के बाद से नौकरशाही में हड़कंप मच गया है, और अन्य अफसरों पर भी कार्रवाई की संभावनाएं तेज हो गई हैं। सियासी गलियारों में चर्चा है कि अभी कई बड़ी मछलियां भी इस जाल में फसेंगी।