देश की समस्याओं का समाधान प्रबल राष्ट्रवाद में है- रामकुमार वर्मा


प्रखर प्रयागराज । राष्ट्रीय समस्याओं का समाधान प्रबल राष्ट्र भाव के जागरण से ही संभव है।राष्ट्र भाव का यदि जागरण हो गया तो इस राष्ट्र को कोई मिटा नहीं सकता। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रबलराष्ट्र जागरण के कार्यमें ही निरंतर लगा हुआ है। देश के भीतर की कुछ शक्तियां गजवा ए हिंद को चोरी छुपे समर्थन देकर इस राष्ट्र को कमजोर करने की फिराक में है देशवासियों को इनसे सावधान रहने की जरूरत है। यह बातें राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पूर्वी उत्तर प्रदेश क्षेत्र के सह क्षेत्र संघचालक राम कुमार वर्मा ने कही। वह सोमवार को सायंकाल गौहनिया स्थित वात्सल्य परिसर में पिछले 20 दिनों से चल रहे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संघ शिक्षा वर्ग प्रथम वर्ष (सामान्य )के समापन समारोह में मुख्य वक्ता के रूप में प्रशिक्षणार्थियों एवं नागरिकों को संबोधित कर रहे थे।
अपने उद्बोधन में उन्होंने आगे कहा कि अमृत महोत्सव के दौरान पूरे देश भर में संघ ने राष्ट्र के लिए सर्वस्व न्योछावर करने वाले ऐसी वीर सपूतों की देशवासियों को याद दिलाई जिन्हें इतिहास के पन्नों में स्थान नहीं मिल सका था। छत्रपति शिवाजी महाराज के राज्यारोहण की 350 वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में तथा महर्षि दयानंद की 200वी जयंती पर वर्ष भर संपूर्ण देश में राष्ट्रीयता एवं सांस्कृतिक नवजागरण का अभियान चलेगा इसी से राष्ट्र के नवोत्थान का मार्ग प्रशस्त होगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि राष्ट्र का भावात्मक स्वरूप ही राष्ट्रभाव कहा जाता है।यह सनातन सांस्कृतिक हिन्दू राष्ट्र है। यहां राष्ट्रपिता की कल्पना कठिन है। उन्होंने देशवासियों को आगाह किया कि देश के भीतर की कुछ शक्तियां गजवा ए हिंद जैसे अभियान को चोरी-छिपे अपना समर्थन दे रही है ।इससे सावधान रहने की जरूरत है। देश में बढ़ रहे ईसाई मतान्तरणरण ,लव जिहाद अप संस्कृति के बढ़ते प्रयोग स्व भाषा के प्रति सम्मान की कमी लिव इन रिलेशन समलैंगिकता से भी देश कमजोर हो रहा है। समय रहते देशवासियों को जागरूक होकर इसका प्रतिकार करना होगा । इससे देश कमजोर हो रहा है। केक काट कर बर्थडे मनाना, टाई बांथना नाम पट्टी अंग्रेजी में लिखना छोडना पडेगा।
सामाजिक समरसता, पर्यावरण के प्रति जागरूकता, कुटुंब प्रबोधन, स्वदेशी भाव के जागरण तथा नागरिक कर्तव्यों के प्रति पूर्ण समर्पण जैसे उपायों से इस राष्ट्र को सशक्त एवं सुदृढ़ किया जा सकता है। संघ के स्वयंसेवकों को इन उपायों का अवलंबन करना होगा।इसी से नष्ट होती मर्यादाओं को बचाया जा सकता है।राम बन कर सबरी के झूठे बेर तथा केवट को गले लगाना होगा तब हिन्दू समाज मजबूत होगा। स्वदेशी, स्वभाषा स्वभूषा का अभिमान जरूरी है। नागरिक शिष्टाचार किसी राष्ट्र की मजबुती जरूरी है तभी समान नागरिक संहिता लागू हो सकेगी। इसके अनुपालन से अखंड भारत का सपना साकार हो‌सकेगा। कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान के निदेशक प्रो केशर मुकुल शरद सुदावणे ने कहा कि संघ राष्ट्र को सर्वोपरि समझता है। आप ने जीवन की शिक्षा प्राप्त की है। इसके लिए आप सभी को बधाई। नागपुर की पवित्र भूमि मेरा गृह जनपद है। वर्ग में आकर मैं अपने आप को सौभाग्यशाली समझ रहा हूं।
मंच पर प्रांत संघ चालक डॉ विश्वनाथ लाल निगम ,वर्ग अधिकारी सीताराम केसरी, विभाग संघचालक प्रो के पी सिंह की उपस्थिति उल्लेखनीय रही।
इससे पहले परम पवित्र भगवा ध्वज का ध्वजारोहण हुआ और सामूहिक संघ प्रार्थना के साथ अनुशासन बद्ध स्वागत प्रणाम हुआ।वर्ग में पिछले 23 मई से शिक्षण प्राप्त कर रहे गणवेश धारी स्वयंसेवकों ने सामूहिक रूप से प्रत्युत्प्रचलनम, प्रदक्षिणा संचलन, सामूहिक समता, दण्ड,दण्डयोग, दंड प्रहार, पदविन्यास नियुद्ध,योग आदि का समवेत आकर्षक प्रदर्शन किया।
वर्ग गीत के बाद अतिथि परिचय एवं वर्ग व्रृत्त वर्ग कार्यवाह घनश्याम जी ने प्रस्तुत किया। आभार ज्ञापन वर्ग व्यवस्था प्रमुख राकेश सेंगर अमृत वचन मधुरम एवं आशुतोष तथा एकल गीत चंद्रभूषण ने प्रस्तुत किया।
ध्वजावतरण के साथ कार्यक्रम का समापन हुआ ।कार्यक्रम में गंगा समग्र के राम आशीष , सहप्रांत संघचालक अंगराज , सहप्रांत कार्यवाह प्रो राजबिहारी , प्रांत प्रचारक रमेश जी, सह प्रांत प्रचारक मुनीश , प्रांत शारीरिक शिक्षण प्रमुख संतोष कुमार,सह विभाग प्रचारक प्रयाग नितिन आदि प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।