अवसाद में आत्महत्या करते सफल लोग, इस बार आईआईटी कानपुर के प्रोफ़ेसर ने की आत्महत्या

प्रखर विशेष। इन दिनों सफलता की ऊंचाई को छूने वाले लोग जिस पर पहुंचने के लिए अच्छे-अच्छे लोग कड़ी मेहनत और लगन करते हैं, लेकिन पहुंच नहीं पाते। लेकिन आज के सामाजिक परिवेश में अच्छे से अच्छे सफल लोग अवसाद में आकर आत्महत्या की तरफ कदम बढ़ा रहे हैं। आए दिन अपने कैरियर व अपने लक्ष्य में सफल हुए लोग, आत्महत्या जैसे जघन्य अपराध को अपने साथ करके अपनी जीवन लीला समाप्त कर लेते हैं। पिछले दिनों बॉलीवुड के मशहूर व फेमस अभिनेता सुशांत सिंह की आत्महत्या के बाद यह चर्चाएं दिनों दिन बढ़ती जा रही हैं। आखिर क्या कारण है कि लोग अवसाद में आत्महत्या कर लेते हैं? शायद उनके लिए आत्महत्या से बड़ा विकल्प कुछ नहीं बचता इसीलिए इसको अपनाते जा रहे हैं। हम कह सकते हैं कि पाश्चात्य सभ्यता भी हम पर दिनों दिन हावी होती जा रही है। मिली जानकारी के अनुसार
भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) कानपुर के कंप्यूटर एवं इंजीनियरिंग विभाग के सहायक प्रोफेसर प्रमोद सुब्रमण्यन ने फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली। आईआईटी प्रशासन की सूचना पर पहुंची कल्याणपुर पुलिस ने शव को फंदे से नीचे उतारा। पुलिस के मुताबिक, प्रोफेसर प्रमोद ने अपने कमरे में पंखे के सहारे नायलॉन की रस्सी से फांसी लगाई थी। मौके से कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
कोरोना के कारण कैंपस बंद है और वह इन दिनों अकेले रह रहे थे। घटना के कारणों का पता नहीं चला है। बताया जा रहा है कि दोपहर डेढ़ बजे तक उन्होंने अपने सहयोगियों से बात की थी। उसके बाद क्या हुआ पता नहीं चला। आईआईटी निदेशक अभय करंदीकर ने निधन पर शोक जताया है।बता दें कि कोरोना काल में आत्महत्या की तमाम खबरें सामने आ रही हैं। हाल ही में एक कोरोना संक्रमित पत्रकार ने एम्स की बिल्डिंग से छलांग लगाकर खुदकुशी कर ली थी। वहीं फिल्म अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत ने भी अपने मुंबई स्थित घर में आत्महत्या कर ली थी।